इस ब्लॉग को प्रारम्भ करने का उद्देश्य: मंच की दशा और दिशा पर चर्चा करना। यह संवाद यात्रा AIMYM द्वारा अधिकृत नहीं है। संपर्क-सूत्र manchkibaat@gmail.com::"

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Tuesday

रांची वालो धन्यवाद् ...............

नवं राष्ट्रीय अधिवेसन में रांची जाने का मोका मिला ,जाकर बहुत अपनत्व का आभाष हुआ । राची के मंच सदस्य की जितनी तारीफ की जाए वोह कम है। इतनी कठिन स्तिथियों में रात दो बजे तक मेहमानों के लिए गाड़ी की वयस्था करना ,खाने की वयवस्था करना सही में काबिले तारीफ है। जो लोग वहां गए उनको इस बात का आभाष हुआ होगा । आपको में तहे दिल से धन्यवाद देना चाहूँगा । और एक सुजाऊ देना चाहूँगा

सांस्कृतिक कार्यक्रम रात एक-दो बजे तक चलने से जो छोटे -छोटे बच्चे कार्यक्रम में भाग लेते हैं उनको काफी तकलीफ होती है । इसमे देखा जाए तो आपका कोई दोष नहीं यह सारा दोष कार्यक्रम बनने वाले का होता पर आयोजक शाखा को यह अधिकार होना चाहिए की कार्यक्रम में परिवर्तन कर सके ।

पर अंत भला तो सब भला आपके आयोजन की जितनी तारीफ की जाए उतनी कम है।

rajkumar

3 comments:

Vinay said...

नववर्ष की हार्दिक मंगलकामनाएँ!

Anonymous said...

यकीनन रांची शाखा धन्यवाद और बधाइयों की हकदार है. उनके मेहनत, समर्पण, आतिथ्य भाव, अनुसाशन की जितनी भी प्रशंशा की जाए कम है. शाखा के एक-एक सदस्यों में अपने अपने कार्यो के प्रति जो समर्पण देखा- मेरे लिए वो शब्दातीत है. रांची के मारवाडी समाज को भी इस हेतु धन्यवाद. रांची की खुशदिली, आतिथ्य, सहयोग अर्शों तक मानस पटल पर अंकित रहेगा.

हाँ, एक बात जरूर कहना चाहूँगा, कि शाखा पदाधिकारियों के सम्मुख यह एक चनौती है कि इतने बड़े आयोजन के बाद शाखा कहीं शिथिल न पड़ जाए.
एक बार पुनः रांची शाखा के एक-एक सदस्य को धन्यवाद और पदाधिकारियों को बधाई.
ओमप्रकाश अगरवाला

नीरज गोस्वामी said...

नव वर्ष की आप और आपके समस्त परिवार को शुभकामनाएं....
नीरज

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